विश्व बड़ी तेजी से संकट की ओर बढ़ रहा है। जिस तरह से अमेरिका व इंग्लैंड द्वारा NATO के माध्यम से यूक्रेन को भड़का कर और उसे शस्त्रास्त्रों की आपूर्ति कर के रूस पर युद्ध थोपा जा रहा है, उसमें निकट भविष्य में एक ऐसी स्थिति आ सकती है कि रूस बाध्य होकर अपनी दुर्धर्ष हाइपरसोनिक मिसाइलों से इंग्लैंड और अमेरिका पर हाइड्रोजन बमों की वर्षा कर सकता है। इसमें रूस को भी बहुत अधिक हानि होगी लेकिन इंग्लैंड और अमेरिका तो राख के ढेर में बदल जाएंगे। अमेरिका पर प्रहार करने को उत्तरी कोरिया और चीन भी अपनी कमर कस के बैठे हैं। युद्ध की स्थिति में उत्तरी कोरिया स्वयं के अस्तित्व को दांव पर लगाकर प्रशांत महासागर में अमेरिका के पश्चिमी तट, हवाई और गुआम द्वीप समूह का तो पूरा ही विनाश कर देगा। चीन भी ताइवान पर अधिकार करने के लिए युद्ध आरंभ कर देगा। इधर पश्चिम-एशिया में या तो ईरान ही रहेगा या इज़राइल। दोनों में से एक का नष्ट होना तो तय है। अरब देश इज़राइल का साथ देंगे। पाकिस्तान भी भारत के साथ बदमाशी कर सकता है। पाकिस्तान पर भरोसा करना गिरगिट पर भरोसा करना है। इस वर्ष के अंत तक यूरोप व एशिया के एक बहुत बड़े भूभाग और अमेरिका के विनाश के संभावना है। जापान और चीन के मध्य भी निकट भविष्य में युद्ध हो सकता है। महादेव की कृपा ने ही पहले भी कई बार बचाया है, और आगे भी वह ही बचा सकती है। अंततः भारत का पुनरोदय होगा। ॐ तत्सत् !! ॐ स्वस्ति !!
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