......... Be Thou the polestar of my shipwrecked thoughts.
तुम को भी नमन और मुझ को भी नमन !
तुम्हारे साथ तो इतना जुड़ गया हूँ कि अब कोई भेद ही नहीं रहा है |
दोनों को नमन !
तुम और मैं दोनों ही अब परब्रह्म परमात्मा में एक हैं |
दोनों ही सच्चिदानंद में मिल गए हैं |
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तुम्हारे से सुन्दर और देखने योग्य अन्य कुछ भी नहीं है |
तुम्ही ज्योतिर्मय कूटस्थ ब्रह्म और नाद हो |
तुम्ही परमशिव और तुम्हीं विष्णु हो |
मैं तुम्हारे साथ एक हूँ, मैं तुम्हारी पूर्णता और प्रेम हूँ |
ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ !!
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