Tuesday, 4 November 2025

परमात्मा को अपनी पूर्ण निष्ठा से वचन दें कि हम उन्हें प्राप्त करना चाहते हैं ---

 परमात्मा को अपनी पूर्ण निष्ठा से वचन दें कि हम उन्हें प्राप्त करना चाहते हैं ---

हमारे जीवन का लक्ष्य भगवत्-प्राप्ति यानि आत्म-साक्षात्कार है। यदि सच में हम उन्हें प्राप्त करना चाहते हैं तो नित्य एक डायरी में लिखें कि हमने आज के दिन कितनी देर तक परमात्मा का ध्यान, जप और भजन आदि किया। हमारा आज का ध्यान बीते हुए कल से अधिक गहन और दीर्घ होना चाहिए।
यह एक प्रतिबद्धता है जो हमारे और परमात्मा के मध्य में है। यह हमारे श्रद्धा और विश्वास की परीक्षा है। हर महीने जांच करें कि हमने कितनी प्रगति की है। यदि हम नित्य नियमित साधना नहीं करते हैं तो आज से और इसी क्षण से आरंभ कर दीजिए। यदि हम नित्य साधना करते है तो उसकी गहनता और गुणवत्ता को बढ़ाने का प्रयास करते रहें। एक बात याद रखें कि हम भगवान को धोखा नहीं दे सकते, क्योंकि वे हमारे भीतर ही बिराजमान हैं।
मेरे इस लेख में कोई कमी कभी दिखायी देगी तो मैं उसका संशोधन करता रहूँगा। आप सभी महान आत्माओं को नमन !! ॐ तत्सत् !!
कृपा शंकर
२४ अक्तूबर २०२५

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