भारत को तोड़ने की बात करना एक देशद्रोह है जिसके लिए देशद्रोहियों को प्रकृति कभी क्षमा नहीं करेगी| जिन्होंने भी इस देश को तोड़ा है, इसका विभाजन किया है, वे सब नर्कगामी नरपिशाच थे|
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मैनें अपने इसी जीवन में इन ग्यारह घोषित रूप से मुस्लिम देशों का भ्रमण किया है ..... मोरक्को, सऊदी अरब, मिश्र, तुर्की, बांग्लादेश, मलयेशिया, इंडोनेशिया, यमन, संयुक्त अरब अमीरात, कुवैत और ईरान| अपने अनुभव से कह सकता हूँ कि भारत में जितनी सुख-शांति है उतनी विश्व के किसी भी मुस्लिम देश में नहीं है, और भारत में मुसलमान जितने सुखी हैं उतने विश्व के अन्य किसी भी मुस्लिम देश में नहीं हैं| घोषित रूप से मुस्लिम देशों में अन्य मतावलंबियों (धार्मिक अल्पसंख्यकों) को कोई नागरिक अधिकार नहीं हैं|
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तीस-बत्तीस वर्ष पूर्व यूक्रेन के ओडेशा नगर में एक वयोवृद्धा विदुषी तातार मुस्लिम महिला और उनके परिवार से मेरी मित्रता थी जिनसे मुझे ऐतिहासिक रूप से बहुत कुछ जानने को मिला| कई भाषाओं की ज्ञाता वह तातार मुस्लिम महिला मूल रूप से मंचूरिया में एक मेडिकल डॉक्टर थी जिसका पति व्यापारी था| मंचूरिया पर चीन के अधिकार के बाद चीन ने उसके पति को मार दिया और उसे जापान समर्थक होने का आरोप लगाकर दस वर्ष तक राजनीतिक बंदी के रूप में कारावास में रखा| अमेरिका के दबाव से वह मुक्त हुई और अपनी खोयी हुई एकमात्र संतान अपनी बेटी की खोज की तो अपनी बेटी को यूक्रेन में पाया जहाँ वह विवाह कर के बस गई थी| वह महिला भी अपनी अमेरिकी नागरिकता को छोड़कर यूक्रेन के ओडेशा नगर में अपनी बेटी के पास ही बस गई थी| गजब का ऐतिहासिक ज्ञान था उन्हें जिस पर मेरे साथ उन्होंने काफी चर्चा की| उन्होने सप्रमाण बताया कि पूरा मध्य एशिया इस्लाम के आगमन से पूर्व बौद्ध मत का अनुयायी था| उन्होने अहिंसा पर इतना अधिक ज़ोर दिया कि इस्लामी तलवार का सामना नहीं कर सके| सब को इस्लाम कबूल करना पड़ा, जिन्होने नहीं किया, वे काट डाले गए|
अपनी रुचि से इतिहास में मैंने सल्तनत-ए-उस्मानिया के इतिहास का, और अन्य कई मत-मतांतरों का अध्ययन भी किया है|
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अपनी अंतर्प्रज्ञा से कह सकता हूँ कि भारत के भीतर और बाहर के शत्रुओं का नाश होगा, और भारत विजयी होगा| मैं उस दिन को देखने जीवित रहूँ या न रहूँ पर एक न एक दिन भारत अवश्य ही अपने द्वीगुणित परम वैभव को प्राप्त कर अखंड होगा| कोई असत्य और अंधकार यहाँ नहीं रहेगा| अमर शहीद पंडित रामप्रसाद विस्मिल की एक बहुत पुरानी कविता प्रस्तुत कर रहा हूँ ....
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मैनें अपने इसी जीवन में इन ग्यारह घोषित रूप से मुस्लिम देशों का भ्रमण किया है ..... मोरक्को, सऊदी अरब, मिश्र, तुर्की, बांग्लादेश, मलयेशिया, इंडोनेशिया, यमन, संयुक्त अरब अमीरात, कुवैत और ईरान| अपने अनुभव से कह सकता हूँ कि भारत में जितनी सुख-शांति है उतनी विश्व के किसी भी मुस्लिम देश में नहीं है, और भारत में मुसलमान जितने सुखी हैं उतने विश्व के अन्य किसी भी मुस्लिम देश में नहीं हैं| घोषित रूप से मुस्लिम देशों में अन्य मतावलंबियों (धार्मिक अल्पसंख्यकों) को कोई नागरिक अधिकार नहीं हैं|
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तीस-बत्तीस वर्ष पूर्व यूक्रेन के ओडेशा नगर में एक वयोवृद्धा विदुषी तातार मुस्लिम महिला और उनके परिवार से मेरी मित्रता थी जिनसे मुझे ऐतिहासिक रूप से बहुत कुछ जानने को मिला| कई भाषाओं की ज्ञाता वह तातार मुस्लिम महिला मूल रूप से मंचूरिया में एक मेडिकल डॉक्टर थी जिसका पति व्यापारी था| मंचूरिया पर चीन के अधिकार के बाद चीन ने उसके पति को मार दिया और उसे जापान समर्थक होने का आरोप लगाकर दस वर्ष तक राजनीतिक बंदी के रूप में कारावास में रखा| अमेरिका के दबाव से वह मुक्त हुई और अपनी खोयी हुई एकमात्र संतान अपनी बेटी की खोज की तो अपनी बेटी को यूक्रेन में पाया जहाँ वह विवाह कर के बस गई थी| वह महिला भी अपनी अमेरिकी नागरिकता को छोड़कर यूक्रेन के ओडेशा नगर में अपनी बेटी के पास ही बस गई थी| गजब का ऐतिहासिक ज्ञान था उन्हें जिस पर मेरे साथ उन्होंने काफी चर्चा की| उन्होने सप्रमाण बताया कि पूरा मध्य एशिया इस्लाम के आगमन से पूर्व बौद्ध मत का अनुयायी था| उन्होने अहिंसा पर इतना अधिक ज़ोर दिया कि इस्लामी तलवार का सामना नहीं कर सके| सब को इस्लाम कबूल करना पड़ा, जिन्होने नहीं किया, वे काट डाले गए|
अपनी रुचि से इतिहास में मैंने सल्तनत-ए-उस्मानिया के इतिहास का, और अन्य कई मत-मतांतरों का अध्ययन भी किया है|
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अपनी अंतर्प्रज्ञा से कह सकता हूँ कि भारत के भीतर और बाहर के शत्रुओं का नाश होगा, और भारत विजयी होगा| मैं उस दिन को देखने जीवित रहूँ या न रहूँ पर एक न एक दिन भारत अवश्य ही अपने द्वीगुणित परम वैभव को प्राप्त कर अखंड होगा| कोई असत्य और अंधकार यहाँ नहीं रहेगा| अमर शहीद पंडित रामप्रसाद विस्मिल की एक बहुत पुरानी कविता प्रस्तुत कर रहा हूँ ....
"भारत जननि तेरी जय हो विजय हो ।
तू शुद्ध और बुद्ध ज्ञान की आगार,
तेरी विजय सूर्य माता उदय हो ।।
हों ज्ञान सम्पन्न जीवन सुफल होवे,
सन्तान तेरी अखिल प्रेममय हो ।।
आयें पुनः कृष्ण देखें द्शा तेरी,
सरिता सरों में भी बहता प्रणय हो ।।
सावर के संकल्प पूरण करें ईश,
विध्न और बाधा सभी का प्रलय हो ।।
गांधी रहे और तिलक फिर यहां आवें,
अरविंद, लाला महेन्द्र की जय हो ।।
तेरे लिये जेल हो स्वर्ग का द्वार,
बेड़ी की झन-झन बीणा की लय हो ।।
कहता खलल आज हिन्दू-मुसलमान,
सब मिल के गाओं जननि तेरी जय हो ।।"
तू शुद्ध और बुद्ध ज्ञान की आगार,
तेरी विजय सूर्य माता उदय हो ।।
हों ज्ञान सम्पन्न जीवन सुफल होवे,
सन्तान तेरी अखिल प्रेममय हो ।।
आयें पुनः कृष्ण देखें द्शा तेरी,
सरिता सरों में भी बहता प्रणय हो ।।
सावर के संकल्प पूरण करें ईश,
विध्न और बाधा सभी का प्रलय हो ।।
गांधी रहे और तिलक फिर यहां आवें,
अरविंद, लाला महेन्द्र की जय हो ।।
तेरे लिये जेल हो स्वर्ग का द्वार,
बेड़ी की झन-झन बीणा की लय हो ।।
कहता खलल आज हिन्दू-मुसलमान,
सब मिल के गाओं जननि तेरी जय हो ।।"
भारत माता की जय | वंदे मातरम् ||
२६ जनवरी २०२०
२६ जनवरी २०२०
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